(नई दिल्ली से अज़हर चौहान, उज्जैन से हरीश कुमार की रिपोर्ट) मध्य प्रदेश में बारिश ने क़हर बरपा कर दिया। शनिवार से शुरू हुई बारिश सोमवार तक थमने का नाम नहीं ले रही। बारिश की तबाही का मंज़र देख सूबे के मुखिया शिवराज सिंह भी फूट-फूट कर रो पड़े। को भी जारी है। बारिश के कारण प्रदेश में अब तक 13 मौतें हुई हैं। बुदनी (जिला सीहाेर) में बाढ़ में तीन परिवारों के 11 लोग बह गए हैं। इनमें से 8 लोगों की लाशें मिल गई हैं। 3 लोगों की तलाश जारी है। राज्य के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान का गांव बुदनी के पास ही है। घटना की जानकारी लगते ही मुख्यमंत्री शिवराज सिंह पीड़ितों से मिलने गांव पहुंच गए (एमपी में CM के इलाके में बाढ़)। शिवराज ने मरने वालों के परिवारवालों को डेढ़-डेढ़ लाख रुपए की मदद देने का एलान किया है। बाढ़ पीड़ितों को दिलासा देते-देते शिवराज की भी आंखें भर आईं। बारिश से मध्य प्रदेश के कई शहरों में बाढ़ जैसे हालात बन गए हैं। उज्जैन की हालत सबसे ज्यादा खराब है। पिछले 48 घंटों में यहां 22.21 इंच पानी बरस चुका है, जो पूरे साल की औसत बारिश के आधे के बराबर है। इस वजह से कई सड़कें, पुल, रेल ट्रैक पानी में डूब जाने के चलते रोड और रेल ट्रैफिक बुरी तरह प्रभावित हुआ है। बिजली नहीं होने से लोगों की मुश्किलें और बढ़ी हैं। वहीं, इंदौर में पिछले 48 घंटों में करीब 11 इंच बारिश दर्ज की गई है। बिजली गिरने से तीन मरे टीकमगढ़ ज़िले के किशोरपुरा गांव में एक ही परिवार के तीन लोगों की बिजली गिरने से मौत हो गई है। वहीं, बुरहानपुर में 33 साल के एक शख्स की लाश को डावल नदी से निकाला गया। वह नदी में बह गया था। उधर, देवास ज़िले के चामुंडा माता में बारिश की वजह से दीवार गिरने से एक महिला की मौत हो गई है। मंगलवार तक होगी बारिश मौसम विभाग के मुताबिक, बंगाल की खाड़ी में बने सिस्टम की वजह से मप्र में बारिश हो रही है। यह सिस्टम काफी मजबूत है, सोमवार और मंगलवार को भी राज्य में बारिश का सिलसिला जारी रहने की संभावना है। मौसम विभाग ने चेतावनी दी है कि अगले चौबीस घंटों में भोपाल, उज्जैन, नीमच और मंदसौर जिलों में भारी वर्षा हो सकती है। घर या दुकान में पानी घुसने से नुकसान हुआ तो मुआवजा लगातार बारिश के मद्देनज़र उज्जैन के कलेक्टर कवीन्द्र कियावत ने सोमवार सुबह रेवेन्यू अफसरों की मीटिंग लेकर उन्हें ज़िले में हुए नुकसान का सर्वे करने को कहा। कलेक्टर ने कहा कि जिनके मकान और दुकान में बारिश का पानी घुसा और नुकसान हुआ हो, उन्हें पांच हजार रुपए का मुआवजा तुरंत दिया जाए। मकान की एक दीवार या शौचालय को नुकसान हो तो उसे आंशिक नुकसान मानकर मुआवजा दिया जाएगा। लेकिन छत गिरने पर पूरा नुकसान मानते हुए मुआवजा दिया जाएगा। उज्जैन में ज्यादा मुसीबत उज्जैन में बारिश ने कुछ ज्यादा ही विकराल रूप दिखाया। इसे देखते हुए सोमवार को जिले में स्कूल बंद रखे गए हैं। यहां से एक बुजुर्ग के लापता होने की भी खबर है। वह पूजा करने गए थे, लेकिन घर नहीं लौटे। हालांकि, अभी तक प्रशासन की ओर से किसी के हताहत होने की सूचना नहीं है। उज्जैन के कई मंदिर पानी में डूबे हैं। उज्जैन रेलवे स्टेशन के एक नंबर प्लैटफॉर्म को छोड़ बाकी चार प्लैटफॉर्म पर ट्रेनें नहीं आ पा रही हैं। उज्जैन सहित आसपास के इलाकों में बारिश से कई ट्रेनें रद्द कर दी गई हैं और कुछ के रूट बदले गए हैं। रविवार को भी 14 ट्रेनें रद्द करनी पड़ी थीं और छह के रूट बदले गए थे। ज्यादातर बसेें भी नहीं चल रहीं। सोयाबीन का क्या होगा रिकॉर्डतोड़ बारिश से सोयाबीन की मुरझा रही फसल को जीवनदान मिल गया है। जून महीने की शुरुआत में बारिश के बाद किसानों ने उज्जैन जिले में करीब साढ़े चार लाख हेक्टेयर क्षेत्र में सोयाबीन की बोवनी कर दी थी। आठ इंच तक बढ़ चुके पौधे मुरझा रहे थे। बारिश से पौधों को जीवनदान तो मिला है, लेकिन खेतों में पानी भरने से पौधों के पीला पड़कर सड़ने का खतरा भी बना हुआ है।