(अनवर चौहान) इराक पर हमला करने वाले तमाम देशों ने सरे आम इंसानियत पर ज़ुल्म ढाया। सद्दाम हुसैन समेत मारे गए तमाम लोग मज़लूम थे। युद्ध पर जारी हुई एक रिपोर्ट के अनुसार ब्रिटेन ने जंग में उतरने से पहले शांति स्थापित करने के तमाम उपायों का इस्तेमाल नहीं किया था.ब्रिटेन के इस आधिकारिक जांच आयोग के अध्यक्ष सर जॉन चिलकॉट के मुताबिक इराक पर सैन्य हमला अंतिम उपाय नहीं था. इसके अलावा अन्य उपायों पर भी विचार किया जाना चाहिए था जो नहीं किया गया. इस रिपोर्ट से उन सवालों के जवाब पाने में मदद मिलेगी जो 2003 से 2009 के दौरान मारे गए ब्रिटेन के 179 सैनिकों के परिवारों के मन हैं`` अब संभावना बढ़ी है कि युद्ध विरोधी लॉबी और युद्ध में मारे गए सैनिकों के परिजन अब ब्रिटेन के पूर्व प्रधानमंत्री टॉनी ब्लेयर पर माफी मांगने का दबाव बढ़ाएंगे. चिलकॉट ने उम्मीद जतायी है कि,``अब से भविष्य में इतना बड़ा कोई भी सैन्य अभियान सटीक विश्लेषण और राजनीतिक विवेक को पूरी तरह से प्रयोग में लाने के बाद ही मुमकिन हो सकेगा.